शनिवार, 29 सितंबर 2018

Shayari for your love

वो तो अपना दर्द रो-रो कर सुनाते रहे,
हमारी तन्हाइयों से भी आँख चुराते रहे,
हमें ही मिल गया खिताब-ए-बेवफा क्योंकि,
हम हर दर्द मुस्कुरा कर छुपाते रहे।


मेरी जिंदगी की कहानी भी बड़ी मशहूर हुई, 
जब मैं भी किसी के ग़म में चूर हुई, 
मुझे इस दर्द के साथ जीना पड़ा, 
कुछ इस कदर मैं वक़्त के हाथों मजबूर हुई। 



ये याद है तुम्हारी या यादों में तुम हो,
ये ख्वाब हैं तुम्हारे या ख्वाबों में तुम हो,
हम नहीं जानते हमें बस इतना बता दो,
हम जान हैं तुम्हारी या हमारी जान तुम हो।



तेरा अक्स गढ़ गया है आँखों में कुछ ऐसा,
सामने खुदा भी हो तो दिखता है हू-ब-हू तुझ जैसा।



हाल तो पूछ लूं तेरा पर डरता हूँ आवाज़ से तेरी,
ज़ब ज़ब सुनी है कमबख्त मोहब्बत ही हुई है।




तू होश में थी फिर भी हमें पहचान न पायी,
एक हम हैं कि पी कर भी तेरा नाम लेते रहे।



ज़रूरी काम है लेकिन रोज़ाना भूल जाता हूँ,
मुझे तुम से मोहब्बत है बताना भूल जाता हूँ,
तेरी गलियों में फिरना इतना अच्छा लगता है,
मैं रास्ता याद रखता हूँ ठिकाना भूल जाता हूँ।




कितना दूर निकल गए रिश्ते निभाते निभाते,
खुद को खो दिया हमने अपनों को पाते पाते,
लोग कहते है दर्द है मेरे दिल में,
और हम थक गये मुस्कुराते मुस्कुराते।


छीनकर हाथों से जाम वो इस अंदाज़ से बोली,
कमी क्या है इन होठों में जो तुम शराब पीते हो।


शनिवार, 22 सितंबर 2018

लवर के लिए प्यार भरी शायरी


लवर के लिए प्यार भरी शायरी

तुम्हें पलकों पर बिठाने को जी चाहता है,
तुम्हारी बाहों से लिपटने को जी चाहता है,
है मोहब्बत इस कदर तुमसे कि
हर दिन तुम्हारे लिए ये दिल धड़कना चाहता है।


हसरत है सिर्फ तुम्हें पाने की, 
और कोई ख्वाहिश नहीं इस दीवाने की, 
शिकवा मुझे तुमसे नहीं खुदा से है, 
क्या ज़रूरत थी, तुम्हें इतना खूबसूरत बनाने की !!


बड़ी मुद्दत से चाहा है तुझे! 
बड़ी दुआओं से पाया है तुझे!
तुझे भुलाने की सोचूं भी तो कैसे!
किस्मत की लकीरों से चुराया है तुझे!


प्यार दिल में छुपाए बैठे थे वो,
तस्वीर को हमारी दिल से लगाये रहते थे वो,
कही जल्दबाजी में हाथ न छूट जाए उनका,
इसीलिए लब्ज़ों को सीए रहते थे वो। 


झोख़े ये हवा के 
बिखेर देते है मुझे,
रोता हुआ यूं 
छोड़ देते है मुझे,
कमबख्त कोई तो हो
जो इन आंसुओ को पोछे,
सूखे सोने भी नहीं देते है मुझे।


दिल पे क्या गुज़री वो अनजान क्या जाने;
प्यार किसे कहते है वो नादान क्या जाने;
हवा के साथ उड़ गया घर इस परिंदे का;
कैसे बना था घोसला वो तूफान क्या जाने।


उनकी याद में सब कुछ भुलाए बैठे हैं...
चिराग खुशियों के बुझाए बैठे हैं..
हम तो मरेंगे उनकी बाहों में ..
ये मौत से शर्त लगाए बैठे हैं।


रोती हुई आँखो में इंतज़ार होता है,
ना चाहते हुए भी प्यार होता है,
क्यों देखते है हम वो सपने,
जिनके टूटने पर भी उनके सच होने का इंतेज़ार होता है?


जब खामोश आँखो से बात होती है,
ऐसे ही मोहब्बत की शुरुआत होती है,
तुम्हारे ही ख़यालो में खोए रहते हैं
पता नहीं कब दिन और कब रात होती है...


पैगाम तो एक बहाना था..
इरादा तो आपको याद दिलाना था..
आप याद करे या ना करे कोई बात नहीं ..
पर आपकी याद आती है,
बस इतना ही हमने आपको बताना था।








शनिवार, 8 सितंबर 2018

प्यार की ओर

प्यार की ओर ......


किसी शायर की शायरी इत्तिफाक नहीं होती,
जो तेरे बारे में न हो वो बात नहीं होती,
रह जाती है दिल मे बातें दबी बहुत ...
क्योकि अभी अच्छी तरह बात नहीं होती ....।

रोने से किसी को पाया नहीं जाता, 
खोने से किसी को भुलाया नहीं जाता, 
वक्त सबको मिलता है जिन्दगी बदलने के लिए, 
पर जिन्दगी नहीं मिलती वक्त बदलने के लिए।

पास आकर सभी दूर चले जाते हैं, 
हम अकेले थे अकेले ही रह जाते हैं, 
दिल का दर्द किसको दिखाए, 
मरहम लगाने वाले ही ज़ख़्म दे जाते हैं।

उन्हें चाहना हमारी कमजोरी है,
उनसे कह नहीं पाना हमारी मजबूरी है,
वो क्यूँ नहीं समझते हमारी खामोशी को,
क्या प्यार का इज़हार करना जरूरी है ?

आँखों में रहा दिल में उतर कर नहीं देखा,
कश्ती के मुसाफिर ने समंदर नहीं देखा,
पत्थर मुझे कहता है मेरा चाहने वाला,
मैं मोम हूँ उसने मुझे छू कर नहीं देखा।

शिकायत है उन्हें कि,
हमें मोहब्बत करना नहीं आता,
शिकवा तो इस दिल को भी है,
पर इसे शिकायत करना नहीं आता।

बिन बात के ही रूठने की आदत है;
किसी अपने का साथ पाने की चाहत है;
आप खुश रहें, मेरा क्या है;
मैं तो आइना हूँ, मुझे तो टूटने की आदत है।

तन्हा रहना तो सीख लिया हमने,
लेकिन खुश कभी ना रह पाएंगे,
तेरी दूरी तो फिर भी सह लेता ये दिल,
लेकिन तेरी मोहब्बत के बिना ना जी पाएंगे।

लोग कहते हैं किसी एक के चले जाने से जिन्दगी अधूरी नहीं होती,
लेकिन लाखों के मिल जाने से उस एक की कमी पूरी नहीं होती है।

उनका भी कभी हम दीदार करते है,
उनसे भी कभी हम प्यार करते है,
क्या करें जो उनको हमारी जरुरत न थी,
पर फिर भी हम उनका इंतज़ार करते है.

गुलशन है अगर सफ़र जिंदगी का,
 तो इसकी मंजिल समशान क्यों है?
जब जुदाई है प्यार का मतलब,
 तो फिर प्यार वाला हैरान क्यों है?
अगर जीना ही है मरने के लिए,
 तो जिंदगी ये वरदान क्यों है?
जो कभी न मिले उससे ही लग जाता है दिल,
आखिर ये दिल इतना नादान क्यों है?

"उसकी पलकों से आँसू को चुरा रहे थे हम, 
उसके ग़मो को हंसीं से सजा रहे थे हम, 
जलाया उसी दिए ने मेरा हाथ
 जिसकी लो को हवा से बचा रहे थे हम"

"काश कोई हम पर प्यार जताता, 
हमारी आंखों को अपने होंठों से छुपाता, 
हम जब पूछते कौन हो तुम, 
मुस्कुरा कर वो अपने आप को हमारी जान बताता"



इश्क़-मोहोब्बत

बर्बाद कर देती है मोहोब्बत, हर मोहोब्बत करने वाले को, क्योकिं इश्क़ हार नहीं मानता और दिल बात नहीं मानता। मेरे यूँ चुप रहने स...